रक्षा मंत्रालय की एक प्रेस विज्ञप्ति में बताया गया है कि मुंबई में पंजीकृत यह सामान्य मालवाहक जहाज कोलकाता से पोर्ट ब्लेयर जाने के रास्ते में था, जब वह कथित तौर पर सागर द्वीप (पश्चिम बंगाल) से लगभग 90 समुद्री मील दक्षिण में डूब गया.विज्ञप्ति के मुताबिक़ शुरुआत में, समुद्री खोज एवं बचाव समन्वय केंद्र (एमआरसीसी) चेन्नई को 25 अगस्त, 2024 को देर शाम एक संकट संबंधी संदेश मिला था . कोलकाता स्थित भारतीय तटरक्षक (icg आईसीजी) के क्षेत्रीय मुख्यालय (उत्तर पूर्व) ने तुरंत आईसीजी के दो जहाजों और एक डोर्नियर विमान को उक्त स्थल पर भेजा. रात के समय उपयोग योग्य उन्नत सेंसरों से सुसज्जित डोर्नियर विमान ने भटक रही जीवनरक्षक नौकाओं को ढूढ़ लिया. डोनियर के पायलट को , संकट में फंसे चालक दल की तरफ से , जीवित रहने संबंधी सूचक लाल रोशनी दिखाई दी.
विमान द्वारा निर्देशित, आईसीजी के जहाज उन निर्देशांकों पर पहुंचे जहां जीवित बचे लोगों के साथ दो जीवनरक्षक नौका एक साथ बंधी पायी गई. चुनौतीपूर्ण मौसम के बावजूद, भारतीय तटरक्षक के जहाज सारंग और अमोघ ने, डोर्नियर विमान के साथ, 25 अगस्त की देर रात और 26 अगस्त की सुबह चालक दल की सुरक्षा सुनिश्चित करते हुए, एक समन्वित समुद्री-हवाई बचाव कार्य को पूरा किया.