नक्सलियों ने हमला कर वीडियो जर्नलिस्ट और 2 पुलिसकर्मियों की जान ली

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दंतेवाड़ा में नक्सलियों के हमले में शहीद वीडियो जर्नलिस्ट अच्युतानंद साहू

भारत के नक्सली हिंसाग्रस्त राज्य छत्तीसगढ़ में नक्सलियों ने घात लगाकर पुलिस दल पर हमला किया जिसमें एक वीडियो जर्नलिस्ट और दो पुलिसकर्मियों की जान गई. दो पुलिसकर्मी इस हमले में घायल भी हुए. हमले की ये वारदात आज सुबह दंतेवाड़ा की है. वीडियो जर्नलिस्ट का नाम अच्युतानंद साहू है जो सरकारी चैनल दूरदर्शन के लिए विधान सभा चुनाव के सिलसिले में कवरेज़ के लिये गये थे. मुठभेड़ में पुलिस के एएसआइ रद्रप्रताप सिंह और सहायक आरक्षक मंगलू मंडावी शहीद हो गए. आरक्षक राकेश कौशिक व विष्णु नेताम घायल हो गए, जिन्हें रायपुर रेफर कर दिया गया है. सुरक्षा बलों की एक एके-47 रायफल व एक कैमरा गायब है.

दूरदर्शन के वीडियो जर्नलिस्ट अच्युतानंद ओडिशा के बोलन्गीर जिले के लोइसिंघा के रहने वाले थे. साहू पहले आर्मी में जाब करते थे. साल 2013 में उन्होंने बतौर कैमरापर्सन डीडी ज्वाइन किया था. दो साल पहले साहू की शादी हुई थी. साहू ने कैमरे का कोर्स ओडिशा स्थित बीजू पटनायक इंस्टीट्यूट से किया था. दूरदर्शन के वीडियो जर्नलिस्ट अच्युतानंद ओडिशा के बोलन्गीर जिले के लोइसिंघा के रहने वाले थे.

नक्सलवाद रोधी अभियान के डिप्टी आईजी सुंदरराज पी. ने बताया कि हमला मंगलवार सुबह करीब 11 बजे दंतेवाड़ा जिला मुख्यालय से करीब 60 किलोमीटर दूर सुकमा जिले की सीमा से लगे अरनपुर थाना क्षेत्र के नीलावाया के जंगल में हुआ. पुलिस की टीम मोटरसाइकिल पर सर्चिंग के लिए निकली थी. दिल्ली से बस्तर के चुनावी कवरेज के लिए आई डीडी न्यूज की तीन सदस्यीय टीम भी उनके साथ थी. इसी दौरान नक्सलियों ने फायरिंग कर दी. मुठभेड़ में कैमरामैन को भी गोली लग गई. हालांकि, उनके साथ आए पत्रकार व एक अन्य सुरक्षित हैं. मुठभेड़ दोपहर तक चलती रही. पुलिस को अंदेशा है कि मौके पर करीब 200 नक्सली मौजूद रहे होंगे.

केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि नक्सली हमले को सरकार ने गंभीरता से लिया है. हमले में शहीद हुए जवान व जान गंवाने वाले कैमरामैन के परिवार के प्रति मैं संवेदना प्रकट करता हूं. छत्तीसगढ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने वारदात को कायराना कृत्य करार दिया है. केंद्रीय सूचना व प्रसारण मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने नक्सली हमले की निंदा की है. उन्होंने कैमरामैन साहू के परिजनों की हरसंभव मदद का आश्वासन दिया है. प्रसार भारती ने कहा कि उसने छत्तीसगढ़ में चुनावी कवरेज के लिए साहू, रिपार्टर धीरज कुमार व सहायक मोरमुकट शर्मा को भेजा था. प्रसार भारती बोर्ड के चेयरमैन सूर्य प्रकाश ने साहू की मौत को दुखद बताते हुए परिवार के प्रति संवेदना प्रकट की है.

घटना के बाद उसके बारे में लगभग रोते हुए दंतेवाडा के पुलिस अधीक्षक अभिषेक पल्लव ने बताया, “ उन्हें गाडियों में ले जाना सम्भव नहीं था तो हमने एम्बुलेंस का इंतजार किया. फिर हमने उन्हें एम्बुलेंस से भेजा. हमारे दो हथियार लूटे गये थे जिन्हें हमने बरामद कर लिया. दो नक्सली को भी गोली लगी है, वह भी आसपास होंगे. मीडिया की 6 टीमें इस गांव को देख चुकी हैं. गांव वालों ने मीडियावालों को पूरी बात बताई. गांव वाले जब नक्सलियों की नहीं सुन रहे थे तो सीआरपीएफ को निशाना बनाया. आज जब फायरिंग शुरु हुई तो उन्होंने पुलिस को नहीं वरन मीडियाकर्मियों को निशाना बनाया. एक प्वाइंट पर आकर उन्होंने मारा और कैमरा ले लिया. दो मीडियाकर्मी 150 मीटर रेंगते हुए भागे हैं. उन पर 50 से 100 राउंड फायर किए हैं. कांस्टेबल ने अगर धक्का नहीं दिया होता तो दोनों मीडियाकर्मी मारे गये होते.”

दंतेवाडा एसपी ने बताया कि चुनाव के मद्देनजर यहाँ पर पिछले पखवाडे से देश भर का मीडिया आ रहा था. ये लोग गांव में अंदर तक जाकर जान रहे थे कि पब्लिक क्या सोचती है. नेताओं, पुलिस और प्रशासन के बारे में वे क्या सोचते हैं. वह कैसे विकास चाहते हैं.

दंतेवाडा में नक्सलियों ने जहाँ दो पुलिसकर्मियों व दूरदर्शन कैमरामैन की हत्या की थी वहाँ पर एक पोस्टर लगाया गया है जिस पर लिखा है, ‘गांवों पर पुलिस हमला, जनता पर फर्जी मुठभेड, महिलाओं पर अत्याचार बंद करो.’ इस पोस्टर में नीचे सीपीआई माओवादी, दरभा डिवीजन कमिटी लिखा हुआ है.

कुछ दिन पहले बीजापुर जिले में पर्चा जारी कर नक्सलियों ने पत्रकारों को बेखौफ रिपोर्टिंग करने का निमंत्रण दिया था. उल्लेखनीय है कि पिछले एक दशक में नक्सली बस्तर के दो पत्रकारों साई रेड्डी व नेमीचंद जैन की हत्या कर चुके हैं. उधर, करीब आधा दर्जन मीडियाकर्मी व ग्रामीण रिपोर्टरों को पुलिस नक्सल मामले में जेल भेज चुकी है.

जवानों को सर्चिंग के दौरान एक बम मिला था. अच्युतानंद ने उसे अपने कैमरे से कैद कर लिया. सूत्र बताते हैं कि आलाधिकारी इस अतिसंवेदनशील इलाके में डेढ़ दशक बाद की शांति देशभर को दिखाना चाहते थे. इसीलिए उन्होंने अच्युतानंद की टीम को बुलवाया था.

विस चुनाव बहिष्कार की धमकी दे रहे नक्सली पिछले चार दिनों में तीन बड़ी वारदात कर चुके हैं. 27 अक्टूबर को बीजापुर के मुरदोंडा सीआरपीएफ कैंप के पास बख्तरबंद वाहन को उड़ा दिया था, जिसमें चार जवान शहीद हो गए थे. 28 अक्टूबर को दंतेवाड़ा के पालनार में भाजपा नेता व जिला पंचायत सदस्य नंदलाल मुड़ामी पर प्राणघातक हमला किया था.