आईडेक्स रक्षा ज्ञान और शक्ति के मेल के नई पहल, लोगो और पोर्टल लाँच

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जोरदार है.

भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रक्षा क्षेत्र में स्वदेशीकरण और आत्मनिर्भरता हासिल करने के लिए आइडिएशन, इनोवेशन और इनक्यूबेशन में अत्याधुनिक तकनीकों की अहमियत पर जोर दिया है. श्री सिंह नई दिल्ली में रक्षा उत्कृष्टता के लिए नवाचार (आईडीएक्स) पहल की उपलब्धियों पर रक्षा मंत्रालय की तरफ से आयोजित ‘डेफ कनेक्ट 2019 ’के उद्घाटन सत्र को संबोधित कर रहे थे. राजनाथ सिंह ने इस अवसर पर आईडेक्स का एक लोगो और पोर्टल www.idex.gov.in जारी किया.

श्री राजनाथ सिंह ने विश्वास व्यक्त किया कि भारत भविष्य में रक्षा प्रौद्योगिकी के आयातक के बजाए एक नवप्रवर्तक और रक्षा प्रौद्योगिकियों के निर्यातक के रूप में उभरेगा. रक्षा मंत्री ने जोर देकर कहा कि ज्ञान और शक्ति का मेल देश की प्रगति के लिए महत्वपूर्ण है. ‘आईडेक्सर’ इसी ज्ञान और शक्ति को जोड़ने और युवाओं की क्षमता दोहन के लिए एक उपयुक्त मंच के रूप में उभर रहा है. रक्षामन्त्री ने उम्मीद ज़ाहिर करते हुये कहा कि ज्ञान और शक्ति का यह मेल एक मजबूत भारत बनाने के सरकार के प्रयासों को सशक्त बनाएगा, जो आगे लोगों के हितों की रक्षा करने में मदद करेगा और साथ ही साथ किसी भी दुस्साहसपूर्ण कार्रवाई का सटीक जवाब दे सकेगा.

डेफ कनेक्ट 2019 ’के उद्घाटन पर हौसला आफजाई.

रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि इंसान का दिमाग एक रचनात्मक प्रयोगशाला है, जिसमें प्रतिदिन लाखों विचारों को परखा जाता है. जब इन विचारों को आजादी के पंख और कल्पना की उड़ान मिलती है, तो ये नवाचार समाधानों के रूप में सामने आते हैं. रक्षा मंत्री ने इन्क्यूबेशन ’को सबसे महत्वपूर्ण चुनौती बताया और कहा, “विचार महान हो सकते हैं और एक अभिनव सोच समाधान भी तलाश सकती है, लेकिन ऐसी सोच को पनपने और फलने-फूलने के लिए अनुकूल माहौल इनक्यूबेशन की जरूरत पड़ती है.”

श्री सिंह ने मेक इन इंडिया, स्टार्टअप इंडिया और अटल नवाचार मिशन का जिक्र करते हुए कहा कि केन्द्र सरकार ने अभिनव सोच के लिए अनुकूल वातावरण बनाने के लिए ये पहल की है. उन्होंने कहा कि आईडेक्स का उद्देश्य देश में मौजूद युवा प्रतिभाओं, सूक्ष्म, लघु और मझौले उद्यमों, स्टा‍र्टअप्स और तेजी से उभरते निजी क्षेत्र को बढ़ावा देना है.

नया लोगो और वेबसाइट जारी करते रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह.

उन्होंने अनुसंधान, विकास और विनिर्माण को एक संयुक्त प्रक्रिया करार देते हुए सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के बीच सामंजस्य बनाने का आह्वान किया. उन्होंने रक्षा उद्योग और राष्ट्र निर्माण के स्वदेशीकरण में सरकार के पूर्ण समर्थन का आश्वासन भी दिया. राजनाथ सिंह ने निजी क्षेत्र के लिए सरकारी प्रयोगशालाओं के इस्तेमाल की सुविधा देने के मंत्रालय के हाल के फैसले का भी जिक्र किया. जैसे, डीआरडीओ निजी कंपनियों के साथ अपनी प्रौद्योगिकी साझा कर रहा है. भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमि‍टेड और हिन्दुस्तान ऐरोनॉटिक्स लिमिटेड रक्षा क्षेत्र में अनुसंधान और विकास में सहयोग कर रहे हैं.

साथ ही उन्होंने नॉर्थ स्ट्रीट कूलिंग टावर्स प्राइवेट लिमिटेड और चिपस्पिरिट टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड जैसी दो स्टार्टअप कंपनियों को नवाचार के लिए डेढ़-डेढ़ करोड़ रुपये का चेक भी सौंपा. रक्षा सचिव डॉ. अजय कुमार और रक्षा उत्पादन विभाग के सचिव सुभाष चंद्र ने भी आइडेक्स को संबोधित किया.