उत्तराखंड में पुलिसकर्मियों के तबादलों को लेकर पुलिस के दो वरिष्ठ अधिकारियों के आदेश ने प्रशासनिक टकराव को उजागर किया है. यह स्थिति गढ़वाल रेंज के पुलिस महानिरीक्षक राजीव स्वरूप की तरफ से पौड़ी गढ़वाल जिले के पुलिस अधीक्षक सर्वेश पंवार की ओर से जारी स्थानांतरण सूची को रद्द किए जाने के आदेश से बनी है .
सर्वेश पंवार भारतीय पुलिस सेवा ( indian police service ) के 2019 बैच के अधिकारी हैं और उन्होंने 30 अक्टूबर 2025 को पौड़ी गढ़वाल जिले के पुलिस अधीक्षक का पद संभाला है . यातायात को सुचारू बनाना , महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराधों , साइबर क्राइम को उन्होंने अपने कार्यों की प्राथमिकता बताया था. दो महीने से भी कम अरसे में , जिले में तैनात बल और पुलिसकर्मियों की तैनाती की समीक्षा के दौरान , उन्होंने एक के बाद एक कई पुलिसकर्मियों के तबादला आदेश जारी किए. यह तबादले सिपाही से लेकर प्रभारी उपनिरीक्षक और इंस्पेक्टरों तक के किए गए थे खासतौर से उनके जो लम्बे समय से एक ही स्थान पर तैनात थे .

बड़ी संख्या में पुलिसकर्मियों के तबादला आदेशों से बल में नाराजगी का मामला गढ़वाल रेंज के महानिरीक्षक ( ig garhwal range ) राजीव स्वरूप तक पहुंचा . उन्होंने पुलिस एक्ट के नियमों का उल्लंघन मानते हुए पौड़ी गढ़वाल जिले के पुलिस अधीक्षक सर्वेश पंवार ( sp sarvesh panwar ) की तरफ से जारी किए गए ट्रांसफर ऑर्डर रद्द कर दिए . यह कार्रवाई रविवार की देर शाम को की गई . हालांकि सर्वेश पंवार ओहदे में भी और बैच की वरिष्ठता के क्रम में राजीव स्वरुप से काफी जूनियर हैं , फिर भी इस प्रकरण को दो आईपीएस अधिकारियों के बीच टकराव के तौर पर देखा जा रहा है. हालांकि इसे लेकर चर्चा ज़रूर हो रही है लेकिन अभी मामले ने तूल नहीं पकड़ा है.

आईजी राजीव स्वरूप 2006 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं. उनकी गिनती उत्तराखंड में तेज तर्रार पुलिस अधिकारियों में होती है. पिछले साल दिसंबर में उन्हें गढ़वाल रेंज की जिम्मेदारी दी गई थी. वहीं सर्वेश पंवार उनसे 13 बैच जूनियर हैं. पौड़ी गढ़वाल से पहले चमोली जिले में एसपी व अन्य पदों पर रहे सर्वेश पंवार की गिनती जेंटलमैन अधिकारी के तौर पर होती है .













