भारतीय नौसेना के लिए ये सबसे ख़ास दिन यूँ ही कोई रस्म नहीं है

241
भारतीय नौसेना
नेवी डे-Navy Day

क्या आप जानते हैं कि भारत की नौसेना हर साल 4 दिसम्बर को नौसेना दिवस (नेवी डे-Navy Day) क्यूँ मनाती है? दरअसल इसके पीछे बहादुरी और सूझबूझ की एक असल कहानी जुड़ी है वो भी ऐसी कि जो दूसरे विश्व युद्ध के बाद दुनिया भर में नौसेना के इतिहास की पहली घटना. भारत की नौसेना के लिए ये सबसे महत्वपूर्ण तारीख है.

भारतीय नौसेना
नेवी डे-Navy Day

ये बात 1971 में भारत और पाकिस्तान के बीच हुए दूसरे युद्ध की है. पाकिस्तान ने 3 दिसम्बर को बॉर्डर वाले इलाके में भारतीय वायु सेना की हवाई पट्टियों के ठिकानों पर हमला करके इस युद्ध की शुरुआत की थी. इसका जवाब उसे भारतीय नौसेना से अगले दिन ऑपरेशन ट्रायडेंट के तौर पर मिला. 4 दिसंबर 1971 को दोपहर को 90 मिनट तक चले इस ऑपरेशन ने पाकिस्तानी फ़ौज को हिला दिया. बिना एक भी सैनिक को गंवाए भारतीय नौसेना ने करांची बंदरगाह पर पाकिस्तानी नेवी के जहाज़ डुबो और तबाह कर डाले बल्कि इसमें 500 पाकिस्तानी नौसैनिकों की जान गई.

भारतीय नौसेना
नेवी डे-Navy Day

यूँ हुआ ऑपरेशन ट्रायडेंट :

दुनिया भर में समुद्र में सेना के सफलतम ऑपरेशन में से एक गिने जाने वाले ऑपरेशन ट्रायडेंट के तहत गुजरात के ओखा पोर्ट से पाकिस्तान के लिए भारतीय नौसेना के युद्धपोतों ने रवानगी की थी. करांची के दक्षिण में 70 किलोमीटर पहले भारतीय नौसेना के जहाज़ों को अहसास हुआ कि पाकिस्तानी नौसैनिक पोत उनकी तरफ तेजी से आ रहे हैं. इसके बाद व्यूहरचना करके उन पर एक के बाद एक 6 मिसाइलें दागी गईं. खैबर चेलेंजर और मुहाफ़िज़ समेत पाकिस्तान के चार पोत तो तबाह हुए और डूबे भी, साथ ही उसके 500 सैनिकों की भी जान गई.

भारतीय नौसेना
नेवी डे-Navy Day

भारतीय नौसैनिक बेड़ा सुरक्षित लौट आया. इस ऑपरेशन में नौसेना के तीन युद्धपोत आईएनएस निपट, आईएनएस निर्घट और आईएनएस वीर शामिल थे. इसके बाद भारतीय नौसेना के आईएनएस राजपूत और आईएनएस विक्रांत ने बम वर्षा की और कोस्ट बाज़ार और चटगाँव को तबाह कर दिया. इस हमले में करांची के तेल डिपो में आग लग गई जो सात दिन बाद बुझ सकी थी.पाकिस्तान की सेना के लिए ये बड़ी हार का दिन था. भारतीय सेना के आधुनिक इतिहास की इस बहादुरी वाली घटना को याद करते हुए 4 दिसम्बर को भारत में नौसेना दिवस मनाया जाता है.

भारतीय नौसेना
नेवी डे-Navy Day

पाकिस्तान का बदला :

हालांकि इस घटना के बाद पाकिस्तानी नौसेना ने 9 दिसम्बर को भारतीय नौसेना के युद्धपोत खुकरी पर हमला करके उसे डुबो कर बदला लिया. खुकरी जहाज में 18 अधिकारी और 176 नौसैनिक थे. जहाज के कमान अधिकारी कैप्टेन महेंद्रनाथ मुल्ला थे. कहा जाता है कि उन्होंने स्वयं डूबते जहाज़ के साथ जल समाधि ली. कैप्टेन मुल्ला शौर्य और पराक्रम के साथ नौसेना की सर्वोच्च परम्परा और सैनिक मूल्यों का निर्वहन करते हुए स्वयं जहाज़ के साथ ही समुद्रालीन हो गये.

भारतीय नौसेना
नेवी डे-Navy Day

राष्ट्रपति और प्रधानमन्त्री की बधाई :

सेना के तीनों अंगों के परः भारत के राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद और भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अवसर पर पूरे सैन्य समुदाय और विशेषकर नौसेनिकों को बधाई दी है. प्रधानमन्त्री मोदी ने अपनी शुभकामनायें ट्वीटर पर साझा करते हुए कहा है, ” नौसेना दिवस पर हमारे सभी साहसी नौसेना कर्मियों और उनके परिवारों को शुभकामनाएं. भारतीय नौसेना निर्भीक होकर हमारी तटीय सीमाओं की रक्षा करती है और जरूरत के समय मानवीय सहायता भी प्रदान करती है. हम सदियों से भारत की समृद्ध समुद्री परंपरा का भी स्मसरण करते हैं.

भारतीय नौसेना
नेवी डे-Navy Day