रिश्वतखोरी में गिरफ्तार जिला सैनिक कल्याण अधिकारी कर्नल ( रिटायर्ड ) डॉ . सुबोध शुक्ला
उत्तराखंड सरकार के सतर्कता विभाग ने जिला सैनिक कल्याण अधिकारी के पद पर तैनात , थल सेना के एक सेवानिवृत्त कर्नल को रिश्वतखोरी के मामले में रंगे हाथ गिरफ्तार किया है . गिरफ्तार किए कर्नल का नाम डॉ . सुबोध शुक्ला है जो बागेश्वर में जिला सैनिक कल्याण कार्यालय का प्रमुख था . कर्नल शुक्ला ने रिश्वत भी एक ऐसे पूर्व सैनिक से ली थी जिसे रोज़गार की ज़रूरत थी . विजिलेंस की टीम ने रिश्वत के रूप में लिए गए 50 हजार रुपये कर्नल के पास से बरामद कर लिए. कर्नल सुबोध शुक्ला को फिलहाल न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है .
इस मामले में शिकायतकर्ता पीड़ित पूर्व सैनिक 11 महीने की पुनर्नियुक्ति पर था. उसके कार्यकाल की समय सीमा अब खत्म हो रही थी जिसे वे बढ़वाना चाहता था . उसने जिला सैनिक कल्याण कार्यालय के माध्यम से अपनी सेवा के विस्तार के संबंध में मदद के लिए कर्नल शुक्ला से संपर्क किया था. पीड़ित ने आरोप लगाया कि कर्नल शुक्ला ने अनुरोध को संसाधित करने के लिए पहले 90 हज़ार रूपये मांगे और फिर इसे घटाकर 50,000 रुपये में सौदा तय किया था.
पूर्व सैनिक ने इस मामले की शिकायत राज्य सतर्कता टोल-फ्री हेल्पलाइन (1064) के माध्यम से दर्ज कराई. जांच परख के बाद विजिलेंस विभाग के डीएसपी अनिल सिंह मनराल के नेतृत्व में टीम ने ट्रैप लगाया और कर्नल (सेवानिवृत्त ) सुबोध शुक्ला को शनिवार को उनके दफ्तर परिसर से तब गिरफ्तार कर लिया जैसे ही उन्होंने पीड़ित पूर्व सैनिक से रिश्वत की रकम ली .
विजिलेंस विभाग ( vigilance department ) के निदेशक डॉ वी मुरुगेशन ने कर्नल को पकड़ने वाली टीम की प्रशंसा करते हुए उसे ईनाम देकर सम्मानित करने का ऐलान किया है . उन्होंने बतया कि भ्रष्टाचार की कई शिकायत टोल फ्री हेल्पलाइन के टेलीफोन नम्बर 1064 के ज़रिए आई हैं जिन पर कार्रवाई हुई है . उन्होंने लोगों से कहा है कि वह चाहे तो इस तरह की शिकायत व्हाट्सएप नंबर 9456592300 पर की जा सकती है. सतर्कता विभाग ने पिछले तीन वर्षों में 150 से अधिक उत्तराखंड राज्य सरकार के भ्रष्ट अधिकारियों को गिरफ्तार किया है.